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Bihar Board Class 10th Biology Previous Year Question
यदि आप Bihar Board Class 10th की तैयारी कर रहे हैं तो आपके लिए हमारे शिक्षण संस्थान MS EDUCATION क्लास 10th के Biology (जैव प्रक्रम) का Previous Year Objective & Subjective Question लेकर आया है जिससे कि आप इसी आधार पर अपना तैयारी कर सके और Bihar Board Exam में अच्छा मार्क्स ला सके।
बिहार बोर्ड में “जैव प्रक्रम” से अब तक पूछा गया ऑब्जेक्टिव प्रश्न |
1. कूटपाद किसमें पाया जाता है? (2016)
【A】 पैरामिशियम
【B】 यूग्लिना
【C】 अमीबा
【D】 इनमें से कोई नहीं
2. प्रकाश-संश्लेषण होता है- (2015 )
【A】 रात में
【B】 दिन में
【C】 रात-दिन
【D】 सुबह शाम
3. क्लोरोफिल वर्णक का रंग है- (2015,2017)
【A】 हरा
【B】 नीला
【C】 लाल
【D】 सफेद
4. रक्त में आयरन की कमी से होने वाला एक रोग है- ( 2014 )
【A】 टी०बी०
【B】 मधुमेह
【C】 एनीमिया
【D】 उच्च रक्त चाप
5. कवक में पोषण की कौन-सी विधि है ?(2014 ,2019)
【A】 स्वपोषी
【B】 मृतजीवी
【C】 समभोजी
【D】 इनमें से कोई नहीं
6. ऑक्जीन है- ( 2021)
【A】 वसा
【B】 एन्जाइम
【C】 हार्मोन
【D】 कार्बोहाइड्रेट
7. मनुष्य में वृक्क सम्बन्धित है ? ( 2013,2020 )
【A】 पोषण से
【B】 श्वसन से
【C】 उत्सर्जन से
【D】 परिवहन से
7. मनुष्य में वृक्क सम्बन्धित है ? (2013 ,2020 )
【A】 पोषण से
【B】 श्वसन से
【C】 उत्सर्जन से
【D】 परिवहन से
8. स्वपोषी पोषण के लिए आवश्यक है- ( 2013,2019,2021 )
【A】 CO₂
【B】 क्लोरोफिल
【C】 सूर्य का प्रकाश
【D】 सभी
9. प्रकाश संश्लेषण की क्रिया में ऑक्सीजन बाहर निकलता है- (2013 )
【A】 जल से
【B】 CO₂ से
【C】 ग्लूकोज से
【D】 डिक्टियो जोम से
10. मैग्नेशियम पाया जाता है- ( 2021 )
【A】 क्लोरोफिल में
【B】 लाल रक्त कण में
【C】 वर्णीलवक में
【D】 श्वेत रक्त कण में
11. मनुष्य में प्रमुख उत्सर्जी अंग है- (2016A, 2020)
【A】 रक्त
【B】 स्वेद ग्रंथि
【C】 वृक्क
【D】 अग्नाशय
12. अमीबा अपना भोजन किसके द्वारा पकड़ता है? (2019C, 2020)
【A】 स्पर्शक
【B】 कूटपाद
【C】 प्रोटोजोआ
【D】 इनमें से कोई नहीं
13. निम्नांकित में से कौन मलेरिया परजीवी है? (2019)
【A】 प्लाज्मोडियम
【B】 लीशमैनिया
【C】 प्रोटोजोआ
【D】 इनमें से कोई नहीं
14. कार्बोहाइड्रेट, प्रोटीन तथा वसा के पूर्ण पाचन का स्थल निम्नलिखित में से कौन-सा है? (2018)
【A】 आमाशय
【B】 यकृत
【C】 छोटी आँत (क्षुद्रांत्र)
【D】 बड़ी आँत (बृहद्रांत्र)
15. खुला परिसंचरण तंत्र पाया जाता है (2015)
【A】 मनुष्यों (पुरुष) में
【B】 घोड़े में
【C】 कॉकरोच में
【D】 स्त्री में
16. हमारे शरीर में कौन-सा हॉर्मोन कार्बोहाइड्रेट, प्रोटीन तथा वसा के उपापचय का नियंत्रण करता है? (2018)
【A】 इंसुलिन
【B】 थायरॉक्सिन
【C】 टेस्टोस्टेरोन
【D】 एस्ट्रोजन
17. इनमें से किसकी उपस्थिति के कारण रक्त लाल दिखाई देता है? (2019)
【A】 थ्रोम्बिन
【B】 फाइब्रिन
【C】 हीमोग्लोबिन
【D】 सीरम
18. पित्त रस कहाँ से स्रावित होता है? (2019【A】
【A】 अग्नाशय से
【B】 यकृत से
【C】 छोटी आंत से
【D】 इनमें से कोई नहीं
19. एक स्वस्थ मनुष्य में प्रकुंचन एवं अनुशिथिलन दाब होता है- (2019)
【A】 120/80
【B】 80/120
【C】 80/100
【D】 72/80
20. तंत्रिका तंतु की उत्पत्ति किस प्राथमिक उत्तक द्वारा होता है? (2011)
【A】 एक्टोडर्म
【B】 मिसोडर्म
【C】 इन्डोडर्म
【D】 इनमें से कोई नहीं
21. मनुष्य में वृक्क एक तंत्र का भाग है जो संबंधित है- (2012)
【A】 पोषण
【B】 श्वसन
【C】 उत्सर्जन
【D】 परिवहन
22. पादप में जाइलम उत्तरदायी हैं- (2018)
【A】 जल का वहन
【B】 भोजन का वहन
【C】 अमीनो अम्ल का वहन
【D】 ऑक्सीजन का वहन
23. स्वपोषी पोषण के लिए आवश्यक है- (2015, 2016)
【A】 कार्बन डाइऑक्साइड तथा जल
【B】 क्लोरोफिल
【C】 सूर्य का प्रकाश
【D】 उपरोक्त सभी
24. पायरुवेट के विखंडन से यह कार्बन डाइऑक्साइड, जल तथा ऊर्जा देता है और यह क्रिया होती है- (2012)
【A】 कोशिका द्रव्य में
【B】 माइटोकॉण्ड्रिया में
【C】 हरितलवक में
【D】 केन्द्रक में
25. स्वपोषण होता है- (2021)
【A】 कवकों में
【B】 हरे पौधों में
【C】 जन्तुओं में
【D】 सभी जीवों में
26. दही जमने में निम्नलिखित कौन-सी क्रिया होती है? (2015 )
【A】 अपघटन
【B】 प्रकाश-संश्लेषण
【C】 किण्वन
【D】 उत्सर्जन
27. कौन अंतःस्रावी और बाह्य स्रावी ग्रंथि जैसा कार्य नहीं करता है? (2019)
【A】 अग्नाशय
【B】 पीयूष ग्रंथि
【C】 अंडाशय
【D】 वृषण
28. वैसे पौधे जो पोषण के लिए सड़ी-गली चीजों पर आश्रित रहते हैं, वे क्या कहलाते हैं?
【A】 परजीवी
【B】 मृतजीवी
【C】 स्वपोषी
【D】 परपोषी
29. पादपों में पाया जाने वाला वृद्धि हार्मोन निम्न में से कौन-सा है? (2019 )
【A】 जिब्बरेलिन
【B】 एड्रीनेलिन
【C】 इंसुलिन
【D】 थाइरॉक्सिन
30. प्रकाश संश्लेषण द्वारा किसकी प्राप्ति होती है? (2011 )
【A】 वसा
【B】 प्रोटीन
【C】 ग्लूकोज
【D】 प्रकाश
31. मानव आहारनाल (अधरनालं) का सबसे लम्बा भाग है : (2017,2021)
【A】 ग्रसनी
【B】 आमाशय
【C】 छोटी आँत
【D】 ग्रासनली
32. निम्नलिखित में किसे कोशिका का ‘उर्जा मुद्रा’ के रूप में जाना जाता है? (2021)
【A】 ADP
【B】 ATP
【C】 DTP
【D】 PDP
33. पत्तियों में गैसों का आदान-प्रदान कहाँ होता है ? (2018,2020 )
【A】 शिरा
【B】 रंध्र
【C】 मध्यशिरा
【D】 इनमें से
34. हृदय से रक्त (रूधिर) को सम्पूर्ण शरीर में पंप किया जाता है (2018)
【A】 फेफड़ों द्वारा
【B】 निलय द्वारा
【C】 अलिंदों द्वारा
【D】 इनमें से सभी
35. निम्नलिखित में कौन से यंत्र का उपयोग रक्तदाब मापने में किया जाता है? (2018)
【A】 बैरोमीटर
【B】 मैनोमीटर
【C】 स्फाईग्नो मीटर
【D】 इनमें से कोई नहीं
36. रक्त का कौन सा अवयव घायल स्थान से रक्त स्राव के मार्ग को रक्त का थक्का बनाकर अवरूद्ध करता है? (2018)
【A】 लाल रक्त कोशिकाएँ (R.B.C.)
【B】 व्हाइट ब्लड सेल्स (W.B.【C】
【C】 प्लेटलेट्स
【D】 लसीका
37. मंड परीक्षण के लिए हरी पत्ती पर आयोडीन डालने से पहले पत्ती को एल्कोहॉल में उबाला जाता है : (2018)
【A】 मंड को घोलने के लिए
【B】 क्लोरोफिल को घोलने के लिए
【C】 पत्ती को मुलायम करने के लिए
【D】 इनमें से सभी के लिए
38. स्लाइड को सर्वप्रथम कम्पाउंड माइक्रोस्कोप से देखा जाता है: (2018)
【A】 5X पर
【B】 10X पर
【C】 25X पर
【D】 45X पर
39. मछलियाँ किस अंग के द्वारा श्वसन करती है? (2020)
【A】 फेफड़ा से
【B】 त्वचा से
【C】 गिल्स से
【D】 ट्रेकिया से
40. पौधे हरे क्यों होते हैं? (2021)
【A】 रन्ध्र के कारण
【B】 क्लोरोफिल के कारण
【C】 स्टोमोटा के कारण
【D】 लवण के कारण
41. रूधिर का कौन सा अवयव रक्त स्राव को रोकने में मदद करता है? (2019)
【A】 लसिका
【B】 प्लाज्मा
【C】 प्लेटलेट्स
【D】 इनमें से कोई नहीं
42. वृक्क की रचनात्मक एवं क्रियात्मक इकाई किसे कहते है? (2020)
【A】 कोशिका को
【B】 श्वसन अंग को
【C】 नेफ्रॉन को
【D】 रक्त चाप को
43. लार किस ग्रंथि से निकलता है? (2020)
【A】 एड्रीनल
【B】 पिट्यूटरी
【C】 लार
【D】 इनमें से कोई नहीं
44. श्वसन के अंतिम उत्पादन है (2018C,2021)
【A】 CO और H₂O
【B】 CO₂ और ऊर्जा
【C】 H₂O और ऊर्जा
【D】 CO₂, H₂O और ऊर्जा
45. मानव हृदय में कोष्ठों की संख्या कितनी है? (2019,2021)
【A】 2
【B】 3
【C】 4
【D】 5
46. स्टोमेटा के खुलने और बंद होने की क्रिया को नियंत्रित करता है (2019)
【A】 द्वार कोशिकाएँ
【B】 सखी कोशिकाएँ
【C】 चालनी नलिकाएँ
【D】 मूल रोम
47. कौन सा इन्जाइम वसा पर क्रिया करता है? (2021)
【A】 पेप्सीन
【B】 ट्रिप्सीन
【C】 लाइपेज
【D】 एमाइलेज
48. किस प्रकार के श्वसन से अधिक ऊर्जा मुक्त होती है? (2020)
【A】 वायवीय
【B】 अवायवीय
【C】 (【A】 और (【B】 दोनों
【D】 इनमें से कोई नहीं
49. हाइड्रा में क्या पाया जाता है? (2020)
【A】 मस्तिष्क
【B】 तंत्रिका
【C】 मुख
【D】 स्पर्शक
50. हरे पौधों में पोषण की विधि कहलाती है
【A】 प्राणी समयोजी पोषण
【B】 परपोषण
【C】 स्वपोषण
【D】 इनमें कोई नहीं
बिहार बोर्ड में जैव प्रक्रम से अब तक पूछा गया सब्जेक्टिव प्रश्न |
1.उत्सर्जन क्या है ? उत्सर्जन में भाग लेने वाले वृक्क से संबंधित अन्य रचनाओं को सूचीबद्ध करें।
उत्तर ⇒ शरीर से अपशिष्ट पदार्थों को बाहर निकलना उत्सर्जन कहलाता है। मनुष्य में उत्सर्जन से संबंधित महत्त्वपूर्ण रचनाएँ निम्नांकित हैं –
(i) वृक्क
(ii) मूत्रवाहिनी
(iii) मूत्राशय
(iv) मूत्रमार्ग
2.परपोषण किसे कहते हैं? ये कितने प्रकार के होते हैं ?
उत्तर ⇒ जिसमें जीव अपना भोजन स्वयं संश्लेषित नहीं करते हैं अपितु किसी-न-किसी रूप में अन्य स्रोतों से प्राप्त करते हैं। परपोषण निम्नांकित चार प्रकार
के होते हैं –
(i) प्राणिसम पोषण
(ii)मृतजीवी पोषण
(iii) परजीवी पोषण
(iv) परासरणी पोषण।
3.पोषण क्या है ? इनके विभिन्न चरण कौन-कौन से हैं ?
उत्तर ⇒ पोषण एक जटिल प्रक्रम है जिसके अंतर्गत कोई जीवधारी भोजन ग्रहण करता है, जिसके द्वारा शरीर-रचना, टूट-फूट की मरम्मत एवं अन्य सभी जैविक क्रियाओं का संचालन एवं नियमन होता है । मुख, आहार नली, आमाशय, क्षुद्रांत्र आंत की भित्ति। बिना पचा भोजन वृहदांत्र में भेज दिया जाता है।
4.स्वपोषी पोषण के लिए आवश्यक परिस्थितियाँ कौन-सी हैं और उसके उपोत्पाद क्या हैं ?
उत्तर ⇒ स्वपोषी पोषण हरे पौधों में पाया जाता है जो कि अपना भोजन स्वयं तैयार करते हैं । स्वपोषी पोषण के लिए प्रकाशसंश्लेषण आवश्यक है। हरे पौधे सूर्य के प्रकाश की उपस्थिति में क्लोरोफिल नामक वर्णक से CO, और जल द्वारा कार्बोहाइड्रेट का निर्माण करते हैं। इस क्रिया में ऑक्सीजन गैस बाहर निकलती है।
सूर्य का प्रकाश, क्लोरोफिल, कार्बन डाइऑक्साइड और जल स्वपोषी पोषण के लिए आवश्यक परिस्थितियाँ हैं। इसके उपोत्पाद आणविक ऑक्सीजन है।
5.श्वसन के लिए ऑक्सीजन प्राप्त करने की दिशा में एक जलीय जीव की अपेक्षा स्थलीय जीव किस प्रकार लाभप्रद है ?
उत्तर ⇒ जलीय जीव जल में विलेय ऑक्सीजन का उपयोग करते हैं। क्योंकि जल में विलेय ऑक्सीजन की मात्रा वायु में ऑक्सीजन की मात्रा की तुलना में बहुत कम है, इसलिए जलीय जीवों की श्वास दर स्थलीय जीवों की अपेक्षा द्रुत होती है। स्थलीय जीव श्वसन के लिएवायुमंडल के ऑक्सीजन का उपयोग करते हैं। श्वसन के लिए ऑक्सीजन प्राप्त करने की दिशा में एक जलीय जीव की अपेक्षा स्थलीय जीव इस प्रकार लाभप्रद है।
6.श्वसन क्या है ?
उत्तर ⇒ शरीर के बाहर से ऑक्सीजन को ग्रहण करना तथा कोशिकीय आवश्यकता के अनुसार खाद्य स्रोत के विघटन में उसका उपयोग श्वसन कहलाता है। इसे निम्न समीकरण द्वारा समझा जा सकता है –
C6H120 + 602 → 6CO2 + 6H2O + 673 k cal.
7.स्वपोषण की आवश्यक शर्ते क्या है? इसके उपोत्पाद क्या हैं ?
उत्तर ⇒ स्वपोषण के लिए निम्न शर्तों को पूरा करना आवश्यक है –
【A】 पर्णहरित या क्लोरोफिल की उपस्थिति
【B】 कार्बन डाइऑक्साइड (CO2)की उपस्थिति
【C】 जल (H2O) की उपस्थिति में पर्णहरित या क्लोरोफिल सूर्य से विकिरण ऊर्जा को अवशोषित करते हैं। जिसके द्वारा CO2 एवं H2O का स्थिरीकरण कर अपने भोजन कार्बोहाइट्रेट का निर्माण करते हैं। उपोत्पाद के रूप में ग्लूकोज एवं ऑक्सीजन प्राप्त होते हैं। ग्लूकोज अंततः स्टार्च में बदल जाता है।
8.परिसंचरण तंत्र से आप क्या समझते हैं ?
उत्तर ⇒ उच्च श्रेणी के जंतुओं में एक विशेष प्रकार का परिवहन तंत्र होता है जो ऑक्सीजन, कार्बन डाइऑक्साइड, पोषक तत्वों, हार्मोन, उत्सर्जी पदार्थों या अन्य उपापचयी क्रियाओं के फलस्वरूप उत्पन्न विभिन्न पदार्थों को शरीर के एक भाग से दूसरे भाग में ले जाता है, जिसे परिसंचरण तंत्र कहते हैं। इस तंत्र के तीन प्रमुख अवयव हैं –
(i) रक्त या रुधिर
(ii) हृदय
(iii) रक्त वाहिनियाँ
9.उत्सर्जन क्या है? मानव में इसके दो प्रमुख अंगों के नाम लिखें।
उत्तर ⇒ जीवों के शरीर से उपापचयी क्रियाओं के फलस्वरूप उत्पन्न अपशिष्ट पदार्थों को शरीर से बाहर निष्कासन की क्रिया को उत्सर्जन कहते हैं। मानव में इसके दो प्रमुख अंग के नाम निम्नलिखित हैं —
- वृक्क (Kidney) –जो रक्त में द्रव्य के रूप में अपशिष्ट पदार्थों (liquid waste product) को मूत्र के रूप में शरीर से बाहर निकालता है।
- फेफड़ा (Lungs)– जो रक्त में गैसीय अपशिष्ट पदार्थों (gaseous waste product) को शरीर से बाहर निकालता है।
- 10.वाष्पोत्सर्जन क्रिया का पौधों के लिए क्या महत्त्व है ?
उत्तर ⇒ वाष्पोत्सर्जन क्रिया का पौधों के लिए निम्नलिखित महत्त्व हैं –
(i) यह पौधों के मूलरोम द्वारा खनिज लवणों के अवशोषण एवं जड़ से पत्तियों तक उनके परिवहन में सहायक होता है।
(ii) यह पौधों में तापक्रम संतुलन बनाये रखता है।
(iii) वाष्पोत्सर्जन के कारण ही पौधों की जड़ों से चोटी तक जल की निश्चित धारा बनी रहती है।
(iv) दिन में रंध्रों के खुले रहने पर वाष्पोत्सर्जन कर्षण; ही जाइलम में जल की गति के लिए मुख्य प्रेरक बल का कार्य करता है।
11.मूत्र बनने की मात्रा का नियमन किस प्रकार होता है ?
उत्तर ⇒ जल की मात्रा पुनरावशोषण, शरीर में उपलब्ध अतिरिक्त जल की मात्रा पर तथा कितना विलेय वय॑ उत्सर्जित करना है, पर निर्भर करता है। अगर अधिक मात्रा में जल या अन्य द्रव्य का सेवन किया जाये तो रक्त का दाब बढ़ जाता है व अधिक मात्रा में मूत्र बनती है। मूत्र की मात्रा भोजन में लिये गए खनिज लवण व दूसरे ठोस आहार पर भी निर्भर करता है। उदाहरण के लिए अगर खाने में नमक की मात्रा अधिक है तो वृक्क से उचित मात्रा में लवण मूत्र के साथ ही बनता है जिससे रक्त में विसरण दाब सही रहता है। मूत्राशय पेशीय होता है। अत: यह तंत्रिका नियंत्रण में है और हम इसी कारणवश मूत्र निकासी को नियंत्रित कर लेते हैं।
12.वाष्पोत्सर्जन को परिभाषित करें।
उत्तर ⇒ द्रव का कमरे के ताप या द्रव के क्वथनांक के नीचे के तापों पर वाष्प बनकर धीरे-धीरे वायुमंडल में जाने की प्रक्रिया वाष्पोत्सर्जन कहलाती है।
13.क्या शाकाहारी एवं मांसाहारी जंतुओं में छोटी आंत की लंबाई में भिन्नता होती है? यदि हाँ तो क्यों ?
उत्तर ⇒ छोटी आंत की लंबाई भोजन के प्रकार पर निर्भर करती है। शाकाहारी जंतओं में छोटी आंत की लंबाई अधिक होती है जिससे कि सेल्यूलोज का पाचन सही ढंग से हो सके। इसके विपरीत मांसाहारी जंतुओं में छोटी आंत की लंबाई छोटी होतो है, क्योंकि मांसाहारी भोजन का पाचन अपेक्षाकृत सरल होता है।
14.मनुष्य में दंतक्षरण का क्या कारण है ?
उत्तर ⇒ दंतक्षरण या दंतक्षय इनैमल तथा डेंटीन के शनैः-शनैः मृदुकरण के कारण होता है। अनेक जीवाणु कोशिका खाद्य कणों के साथ मिलकर दाँतों पर चिपककर दंत प्लाक बना देते हैं। प्लाक दाँत को ढक लेता है। इसलिए लार अम्ल को उदासीन करने के लिए दंत सतह तक नहीं पहुँच पाती है। यही दंतक्षरण का कारण है।
15.दंत प्लाक एवं दंत अस्थिक्षय से क्या समझते हैं ?
उत्तर ⇒ यदि मीठी चीजें खाने के उपरान्त हम अपनी दाँतों की सफाई ठीक से नहीं करते हैं तब ये हमारे दाँतों पर बैठ जाती है एवं दंत प्लाक बनाते हैं। शक्कर पर बैक्टीरिया रासायनिक क्रिया कर अम्ल बनाते हैं । यह अम्ल दाँत के इनामेल से रासायनिक प्रतिक्रिया कर उसे नरम बना देता है तथा उस स्थान पर धीरे-धीरे एक छिद्र बन जाता है जिसे दंत अस्थिक्षय कहते हैं।
16.विषमपोषी पोषण से आप क्या समझते हैं ?
उत्तर ⇒ विषमपोषी पोषण वह प्रक्रिया है, जिसमें जीव अपना भोजन स्वयं संश्लेषित न कर किसी अन्य स्रोतों पर निर्भर करते हैं। जैसे—सभी जन्तु, अहरित पौधे (कवक)। इसके तीन प्रकार हैं—
(i) मृतजीवी पोषण
(ii) परजीवी पोषण
(iii) प्राणिसम पोषण।
17.सजीव के मुख्य चार लक्षण लिखें।
उत्तर ⇒ सजीवों के मुख्य चार लक्षण निम्नलिखित हैं –
(i) पोषण
(ii) श्वसन
(iii) प्रजनन
(iv) वृद्धि एवं विकास।
18.जीवों में पोषण की अनिवार्यता की सार्थकता साबित करें ।
उत्तर ⇒ जैविक प्रक्रमों के संचालन, वृद्धि, अनुरक्षण आदि कार्यों के निष्पादन हतु जावा का मूलभूत आवश्यकता ऊर्जा है । ऊर्जा की प्राप्ति हेतु खाद्य पदाथा का जरूरत होती है । अत: जीवों में पोषण अनिवार्य है।
19.हमारे आमाशय में अम्ल की भमिका क्या है ?
उत्तर ⇒ हमारे आमाशय में अम्ल की भूमिका निम्नलिखित हैं
(i) यह जीवाणुनाशक की तरह कार्य कर भोजन के साथ आनेवाले बैक्टीरिया को नष्ट कर देता है
(ii) भोजन इसके कारण शीघ्रता से नहीं पचता है।
20.कोशिका के चार कोशिकांग का नाम लिखें।
उत्तर ⇒ कोशिका के चार कोशिकांग का नाम निम्नलिखित है –
- माइटोकॉण्ड्रिया
- लाइसोसोम
- गॉल्जी उपकरण
- अंतः प्रद्रव्या जालिका
- 21.मनुष्य में कितने प्रकार के दाँत पाये जाते हैं ? उनके नाम तथा कार्य लिखें।
उत्तर ⇒ मनुष्य में दाँत चार प्रकार के होते हैं-कतर्नक या इन्साइजर, भेदक या कैनाइन, अग्रचवर्णक या प्रीमोलर तथा चवर्णक या मोलर। कतर्नक को काटने वाला दाँत कहते हैं, भेदक-चिरने या फाड़ने वाला दाँत होता है। अग्रचवर्णक एवं चवर्णक को चबाने एवं पीसने वाला दाँत कहा जाता है।
22.उत्सर्जी पदार्थों के निष्कासन हेतु पौधों द्वारा उपयुक्त विधियों का नाम लिखें।
उत्तर ⇒ पौधों में उत्सर्जन के लिए जंतुओं की तुलना में कोई विशिष्ट अंग का प्रयोजन नहीं हैं। पौधे भिन्न-भिन्न तरीके से उत्सर्जी पदार्थों को निष्कासित करते हैं. पत्तियों के रंध्रों एवं तनों के वातरंध्रों द्वारा विसरण की प्रक्रिया से CO,को निष्कासित करते हैं। आवश्यकता से अधिक जल वाष्पोत्सर्जन द्वारा उत्सर्जित होता है। कुछ उत्सर्जी पदार्थ पत्तियों एवं छालों में संचित रहते हैं, जो निश्चित समयांतराल पर निष्कासित होते हैं।
23.हमारे शरीर में वसा का पाचन कैसे होता है? यह प्रक्रम कहाँ होता है ?
उत्तर ⇒ हमारे शरीर में वसा का पाचन आहारनाल की क्षुद्रांत्र में होता है। यकृत से निकलनेवाला क्षारीय पित्तरस, आए हुए भोजन के साथ मिलकर, उसकी अम्लीयता को निष्क्रिय करके उसे क्षारीय बना देता है, जिसकी इसी प्रकृति पर अग्न्याशयिक रस सक्रियता से कार्य करता है। पित्तरस वसा को सूक्ष्म कणों में तोड़ देता है। इस क्रिया को इमल्सीकरण क्रिया कहते हैं । लाइपेज एंजाइम, जो कि अग्न्याशयिक रस में पाया जाता है, इमल्सीफाइड वसा को वसीय अम्ल तथा ग्लिसरॉल में परिवर्तित कर देता।
24.किसी जीव द्वारा किन कच्ची सामग्रियों का उपयोग किया जाता है ?
उत्तर ⇒ किसी भी जीव में शारीरिक वृद्धि के लिए उसे बाहर से अतिरिक्त कच्ची सामग्री की भी आवश्यकता होती है। पृथ्वी पर जीवन कार्बन आधारित अणुओं पर निर्भर है, अतः अधिकांशतः, खाद्य पदार्थ भी कार्बन आधारित हैं। इन कार्बन स्रोतों की जटिलता के अनुसार विभिन्न जीव भिन्न प्रकार के पोषण प्रक्रम को प्रयुक्त करते हैं।
25.किण्वन क्रिया क्या है? इथेनॉल की प्राप्ति में किण्वन का अनुप्रयोग किस प्रकार होता है ?
उत्तर ⇒ गन्ने के रस को सूर्य के प्रकाश में रख देने पर यह रासायनिक ऊज का उपयोग कर किण्वित हो जाता है जिससे ऐल्कोहॉल का निर्माण होता है व्यापारिक विधि में एथेनॉल को चीनी के किण्वन द्वारा प्राप्त किया जाता है।
26.पचे हुए भोजन को अवशोषित करने के लिए क्षद्रांत्र को कैसे अभिकल्पित किया गया है ?
उत्तर ⇒ पचे हुए भोजन का अवशोषण ज्यादा हो सके तथा सतही क्षेत्रफल अधिक हो इसके लिए क्षुद्रांत्र के आंतरिक स्तर पर अनेक अंगुली जैसे प्रवर्ध होते हैं जिन्हें दीर्घरोम कहते हैं । दीर्घरोम में रुधिरवाहिकाओं की बहुतायत होती है जो भोजन को अवशोषित करके शरीर की प्रत्येक कोशिका तक पहुँचाती हैं। इन । कोशिकाओं में भोजन का प्रयोग ऊर्जा प्राप्ति के लिए किया जाता है तथा नये ऊतकों के निर्माण तथा टूटे हुए ऊतकों की मरम्मत हेतु होता है ।
27.प्रकाश संश्लेषण क्या है? इसे रासायनिक समीकरण में व्यक्त करें।
उत्तर ⇒ हरे पौधों द्वारा सूर्य के प्रकाश से ऊर्जा प्राप्त कर क्लोरोफिल की उपस्थिति में कार्बन डाइऑक्साइड (CO2) तथा जल (H2O) के द्वारा अपने भोजन काबोहाइड्रेट (कार्बनिक पदार्थ) का संश्लेषण करना ही प्रकाशसंश्लेषण (Photosyn thesis) की प्रक्रिया कहलाता है।
इसका रासायनिक समीकरण है –
28.रक्त की संरचना को समझाएँ।
उत्तर ⇒ रक्त लाल रंग का गाढ़ा, क्षारीय तरल पदार्थ है, जो मुख्य रूप से कोशिका एवं प्लाज्मा से बना है। रक्त कोशिका तीन प्रकार की होती है—लाल रक्त कोशिका, श्वेत रक्त कोशिका एवं पट्टिकाणु।
प्लाज्मा (50-55%) में 90-92% जल, 6-8% प्लाज्मा प्रोटीन एवं 1-2%अकार्बनिक लवण पाये जाते है। इसमें ग्लूकोज, अमीनो अम्ल, वसा आदि पाये जाते हैं।
29.रक्त पट्टिकाणु की क्या उपयोगिता है ?
उत्तर ⇒ रक्त पट्टिकाणु सबसे छोटे आकार की रक्त कोशिकाएँ हैं, इसे विषाणु या थ्रोम्बोसाइटस भी कहते हैं। ये अस्थिमज्जा के मैगाकैरिओसाइट्स द्वारा निर्मित होते हैं। ये रक्त को थक्का बनाने में मदद करता है।
30.मृतजीवी पोषण क्या है ?
उत्तर ⇒ जीव मृत जंतुओं और पौधों के शरीर से अपना भोजन, अपने शरीर की सतह से, घुलित कार्बनिक पदार्थों के रूप में अवशोषित करते हैं। यही मृतजीवी – पोषण है। मृतजीवी अपना भोजन मुख्यतः तरल अवस्था में अवशोषण द्वारा ग्रहण करते हैं। जंतुओं और पौधों की मृत्यु के पश्चात् उनके मृत शरीर को मृतजीवी अपघटित कर, अर्थात् सड़ा-गलाकर उनके मूल तत्त्वों में बदल देते हैं। ऐसे मूल तत्त्व पुनः मिट्टी में प्रतिस्थापित हो जाते हैं और उत्पन्न गैस वातावरण में मिल जाते हैं। इन तत्त्वों को फिर से हरे पौधे मिट्टी से ग्रहण कर अपने उपयोग में लाते हैं। यही चक्र पृथ्वी में निरंतर चलता रहता है।
31.जीवन के अनुरक्षण के लिए आप किन प्रक्रमों को आवश्यक मानेंगे ?
उत्तर ⇒ जीवन के अनुरक्षण के लिए हम निम्नलिखित प्रक्रमों को आवश्यक मानेंगे –
- पोषण
- श्वसन
- परिवहन एवं
- उत्सर्जन इत्यादि ।
पर इन जैव प्रक्रमों के अतिरिक्त सभी जीवधारी जनन (reproduction) द्वारा अपनी संख्या में वृद्धि करते हैं । ये क्रियाएँ जीवन के लिए अति आवश्यक हैं।
32.प्रछली, मच्छर, केंचुआ और मनुष्य के मुख्य श्वसन अंगों के नाम लिखें।
उत्तर ⇒ मछली में मुख्य श्वसन अंग क्लोम (Gill) होता है। मच्छर में मुख्य श्वसन अंग श्वासनली या ट्रैकिया है, केंचुआ में मुख्य श्वसन अंग त्वचा है, जबकि मनुष्य में फेफड़ा है।
33.प्रकाशसंश्लेषण के लिए आवश्यक कच्ची सामग्री पौधे कहाँ से प्राप्त करते हैं ?
उत्तर ⇒ प्रकाशसंश्लेषण के लिए पौधे कच्ची सामग्री निम्नांकित जगहों से प्राप्त करते हैं –
- कार्बन डाइऑक्साइड (CO2) – इसे बायुमंडल से प्राप्त किया जाता है।
- जल –भूमि से पौधे जड़ों द्वारा प्राप्त करते हैं।
- पर्णहरित –यह पौधों के कोशिकाओं में स्थित हरित लवक होते हैं।
- सूर्य का प्रकाश –सूर्य के प्रकाश से पौधे, फोटोन ऊर्जा कणों के रूप में प्राप्त करते हैं जो क्लोरोफिल में संचित होकर आवश्यकतानुसार प्रयोग में लाये जाते हैं।
- 34.श्वसन के लिए ऑक्सीजन प्राप्त करने की दिशा में एक जलीय जीव की अपेक्षा स्थलीय जीव किस प्रकार लाभप्रद होते हैं ?
उत्तर ⇒ जल में ऑक्सीजन काफी कम घुलित होते हैं, जबकि अधिक जैव ऊर्जा के उत्पादन के लिए अधिक ऑक्सीजन की आवश्यकता होती है। जलीय जीव – (मछलियाँ) सर्वप्रथम मुख के द्वारा घुलित ऑक्सीजन को लेती हैं तथा विमाण के द्वारा क्लोम की कोशिकाओं में अवशेषित कर लेती हैं। जबकि स्थलीय जीव फेफड़ा के द्वारा आसानी से ऑक्सीजन ले पाते हैं।
35.पौधों में गैसों का आदान-प्रदान कैसे होता है ?
उत्तर ⇒ पौधों में गैसों का आदान-प्रदान विसरण की क्रिया के द्वारा पौधों की पत्तियों पर स्थित रंध्रों (stomata) पुराने वृक्षों के तनों की कड़ी त्वचा (bark) पर स्थित वातरंध्रों (lenticels) एवं अंतरकोशिकीय स्थानों (intercellular spaces) के द्वारा होती है। इस क्रिया में पौधो की आवश्यकताओं एवं पर्यावरणीय अवस्था का महत्त्वपूर्ण योगदान होता है।
36.आमाशय में पाचक रस की क्या भूमिका है ?
उत्तर ⇒ पाचक रस (आमाशय) में HCL पाया जाता है जो निष्क्रिय पेप्सिनोजेन को सक्रिय पेप्सिन नामक एंजाइम में बदल देता है। पेप्सिन भोजन के प्रीटीन पर कार्य कर उसे पैप्टोन (Peptone) में बदल देता है। HCL भोजन के साथ आनेवाले बैक्टीरिया को नष्ट कर देता है। इसके अतिरिक्त गैस्टिक लाइपेज एंजाइम भी पाचक रस में होता है, जो वसा के आंशिक पाचने में मदद करता है।
37.ग्लोमेरुलर फिल्ट्रेशन से’आप क्या समझते हैं ?
उत्तर ⇒ अभिवाही एवं अपवाही धमनिका के संयोग को ग्लोमेरुलर कहते हैं । अपवाही धमनिका का व्यास कम होने के कारण ग्लोमेरुलस के अन्दर रक्त पर दबाव अधिक बढ़ जाता है तथा इस उच्च दबाव पर रक्त के छनने की प्रक्रिया होती है, जिसे ग्लोमेरुलर फिल्ट्रेशन या अल्ट्राफिल्ट्रेशन कहते हैं। इसके कारण प्रतिदिन 150-180 लीटर रक्त का वृक्कीय निस्पंद होता है, जिनमें 168.5 लीटर जल अवशोषित कर लिया जाता है एवं 1.5 से 1.8 लीटर मूत्र बनता है ।
38.विभिन्न प्रकार के प्राणिसमभोजी सजीवों का उल्लेख करें ।
उत्तर ⇒ प्राणिसमभोजी सजीव अपना भोजन ठोस या तरल के रूप में जंतुओं के भोजन ग्रहण करने की विधि द्वारा ग्रहण करते हैं । ऐसे प्राणियों का भोजन संपूर्ण पादप या अन्य प्राणि अथवा उनके कुछ भाग होते हैं । भोजन के स्रोतों के आधार पर प्राणिसमभोजी निम्न प्रकार के होते हैं— शाकाहारी, मांसाहारी, सर्वाहारी, स्वजातिभक्षक, अपशिष्टभोजी, परभक्षी, कीटभक्षी, अपघटक, मत्स्यभक्षी, धान्यपोषी ।
39.पत्तियों को प्रकाशसंश्लेषी अंग क्यों कहा जाता है ?
उत्तर ⇒ पत्तियों में अंदर हरे वर्णक पर्णहरित या क्लोरोफिल की उपस्थिति होती है और प्रकाशसंश्लेषण प्रक्रम केवल क्लोरोफिल की उपस्थिति में संभव होता है । इसलिए पत्तियों को प्रकाशसंश्लेषी अंग कहा जाता है ।
40.पित्त क्या है? मनुष्य के पाचन में इसका क्या महत्त्व है ?
उत्तर ⇒ पित्त यकृत ग्रंथि से स्रावित होने वाला (श्राव) द्रव्य है जो छोटी आँत में भोजन के पाचन में मदद करता है। मनुष्य के पाचन क्रिया में इसका निम्नलिखित महत्त्व है।
- पित्त आमाशय से ग्रहणी में आए अम्लीय काइम की अम्लीयता को नष्ट कर उसे क्षारीय बना देता है ताकि अग्न्याशयी रस के एंजाइम उस पर क्रिया कर सके।
- पित्त भोजन में वसा के बड़े कण को सूक्ष्म कण में तोड़ने में (emulsification) मदद करता है, ताकि लाइपेज एंजाइम उस पर क्रिया कर वसा अम्ल एवं ग्लिसरॉल में परिवर्तित कर सके। इस प्रकार वसा के पाचन में पित्त का महत्त्व है।
41. हमारे शरीर में हीमोग्लोबिन की कमी के क्या परिणाम हो सकते हैं ?
उत्तर ⇒ हीमोग्लोबिन, लाल रक्त कोशिकाओं में पायी जाती है, यह ऑक्सीजन के साथ मिलकर ऑक्सीहीमोग्लोबिन का निर्माण करती है। यह कोशिका में ऑक्सीजन को विसरित कर देती है, जिससे कोशिकीय श्वसन हो सके। हमारे शरीर में हीमोग्लोबिन की कमी से एनिमिया नामक बीमारी हो जाती है। लाल रक्त कोशिकाओं की संख्या कम हो जाती है। कोशिका को पूरी तरह ऑक्सीजन नहीं मिल पाता है, जिसके कारण कोशिकीय श्वसन बाधित हो जाता है।
42. लसीका की क्या उपयोगिता है ? प्रकाश डालें।
उत्तर ⇒ लसीका श्वेत संवहनी संयोजी ऊतक है। रक्त प्लाज्मा की कुछ मात्रा कोशिकाओं से विसरित होकर ऊतकों में स्थित कोशिकाओं के बीच के रिक्त स्थानों में प्रविष्ट हो जाती है। ये विसरित प्लाज्मा को ऊतक द्रव या लसीका कहते हैं। लसीका के द्वारा कोशिकाओं में ऑक्सीजन सरलतम भोज्य पदार्थों तथा हार्मोन का विसरण होता है। इसके द्वारा CO2 जल तथा अपशिष्टों का भी विसरण होता है।
43. पौधों में मूलरोमों की कोशिकाओं में जल के पहँचने की विधि का उल्लेख करें।
उत्तर ⇒ मृदा से जल का अवशोषण जलीय पौधों में मूलरोमों के द्वारा होता है। मृदा से जल मूलतः विसरण की प्रक्रिया से मलरोम की कोशिकाओं में प्रवश कर जाता है। चूंकि मूलरोम की कोशिकाओं में कोशिका द्रव का परासरण दाब भूमि जल के दाब से अधिक होता है। अतः सांद्रता प्रवणता के अनुसार भूमि से मूलरामा का कोशिकाओं की ओर जल का बहाव होता है।
44. गैसों के अधिकतम विनिमय के लिए कूपिकाएँ किस प्रकार अभिकल्पित हैं ?
उत्तर ⇒ हमारे मानव शरीर में दो फेफड़े होते हैं। प्रत्येक फेफड़ा लाखों सूक्ष्म कपिकाओं में विभाजित होता है। वायु की अनुपस्थिति में कूपिका बहुत कम स्थान घेरती है जबकि वायु की उपस्थिति में कूपिका बहुत स्थान घेरती है। इनके कारण श्वसन क्रिया में बहुत सहायता मिलती है।
45. पाचन किसे कहते हैं ? मनुष्य के आहारनाल के विभिन्न भागों का नाम बताएँ।
उत्तर ⇒ वह क्रिया जिसमें एंजाइमों की सहायता से जटिल भोज्य पदार्थों को सरल अणुओं में अपघटित किया जाता है, जिससे ये अवशोषित होकर हमारी कोशिकाओं में प्रवेश कर सके, पाचन कहलाती है। मनुष्य के आहारनाल में निम्नलिखित भाग होते हैं।मुखगुहा, ग्रसनी, ग्रासनली, आमाशय, छोटी आँत, बड़ी आँत, मलाशय एवं मलद्वार।
46. उच्च संगठित पादप में वहनतंत्र के घटक क्या हैं ?
उत्तर ⇒ उच्च संगठित पादप में वहनतंत्र के घटक हैं –
- एक जाइलम है, जो मृदा से प्राप्त जल और खनिज लवणों को वहन करता है। दूसरा फ्लोएम, पत्तियों से जहाँ प्रकाशसंश्लेषण के उत्पाद संश्लेषित होते हैं, पौधे के अन्य भागों तक वहन करता है।
47. क्या होगा अगर मानव शरीर से दोनों वृक्क को हटा दिया जाय ?
उत्तर ⇒ मनुष्य जीवित नहीं रह सकता है क्योंकि अपशिष्ट पदार्थ रक्त में जमा होना शुरू हो जाएँगे, तथा रक्त विषाक्त हो जाएगा ।
48. कठोर परिश्रम या अभ्यास करते समय साँस लेने की क्रिया पर क्या प्रभाव पड़ता है और क्यों ?
उत्तर ⇒ कठोर परिश्रम या अभ्यास करते समय हमारे मांसपेशियों में संकुचन और फैलाव बढ़ जाता है इसलिए साँस लेने में कठिनाई होने लगती है।
49. हमारे जैसे बहुकोशिकीय जीवों में ऑक्सीजन की आवश्यकता पूरी करने में विसरण क्यों अपर्याप्त है ?
उत्तर ⇒ बड़े आकार वाले हमारे जैसे बहकोशिकीय जीव में सभी कोशिकाएँ अपने आस-पास के पर्यावरण के सीधे संपर्क में नहीं रह सकती। अतः साधारण विसरण सभी कोशिकाओं की आवश्यकताओं की पूर्ति नहीं कर सकता।
50. मनुष्य के आमाशय में जो HCL अम्ल स्त्रावित होता है, वह कैसे कार्य करता है ?
उत्तर ⇒ गैस्ट्रिक HCL अम्लीय माध्यम प्रदान करता है जो गैस्ट्रिक खमीर पेप्सीन को सक्रिय करता है। यह सक्रिय होकर भोजन में पाए जाने वाले विभिन्न कीटाणओं को मारता है।
51. एक सामूहिक भोज में खाने के पश्चात् 30 लोग बीमार हो गये। उन्हें कै-दस्त तथा बुखार हो गया। आप बतायें कि उन्हें कौन-सी बीमारी हुई? इसमें किस जीवाणु का योगदान है? आप उन्हें किस तरह प्राथमिक उपचार सुझायेंगे ?
उत्तर ⇒ जैसा कि लक्षण से स्पष्ट हो रहा है कि उन बीमार व्यक्तियों को भोजन विषाक्तन की शिकायत थी । यह बीमारी एक खास जीवाणु बैक्टेरियम बौटोलिज्म की वजह से होता है । रोगी को प्राथमिक उपचार के तौर पर नमक-चीनी और पानी का घोल समय-समय पर देंगे ताकि निर्जलीकरन नहीं हो पाए ।
52. कीटों में ऑक्सीजन सीधे ऊतकों को क्यों पहुँचाया जाता है ? इस विधि में प्रयुक्त रचनाओं का वर्णन कार्यविधि के साथ करें।
उत्तर ⇒ कीटों में श्वसन ट्रैकिया के द्वारा होता है। ट्रैकिया शरीर के भीतर स्थित अत्यंत शाखित हवा-भरी नलिकाएँ हैं जो एक ओर सीधे ऊतकों के संपर्क में होती है तथा दूसरी ओर शरीर की सतह पर श्वासरंध्र नामक छिद्रों के द्वारा खुलती है। कीटों में ट्रैकिया के द्वारा श्वसन में गैसों का आदान-प्रदान रक्त के माध्यम से नहीं होता है । इसका कारण यह है कि कीटों के रक्त में हीमोग्लोबिन या उसके जैसे कोई रंजक जिसमें ऑक्सीजन को बाँधने की क्षमता हो, नहीं पाए जाते है ।
53. वाष्पोत्सर्जन एवं स्थानांतरण में अंतर स्पष्ट करें।
उत्तर ⇒ पौधों के वायवीय भागों (स्टोमाटा, क्यूटिकल एवं लेंटीसेल्स) द्वारा वाष्प के रूप में जल के निष्कासन की क्रिया वाष्पोत्सर्जन कहलाती है। यह एक शारीरिक क्रिया है, एवं अलग-अलग पादपों में इस क्रिया से निष्कासित जल की मात्रा में भिन्नता होती है। है लेकिन स्थानांतरण में पौधों में जल, खनिज लवण एवं खाद्य-पदार्थों का बहुत ऊँचाई तक संचलन होता है। इस स्थानांतरण की क्रिया में वाष्पोत्सर्जन की भूमिका होती है। यह फ्लोएम की चालनी नलिकाओं द्वारा होता है।
54. पौधों में स्टोमाटा कहाँ पाए जाते हैं? इनसे CO,पत्ती कोशिकाओं में कैसे पहुँचता है ?
उत्तर ⇒ पत्तियों की बाह्य त्वचा या एपिडर्मिस के पृष्ठ पर स्टोमाटा पाई जाती है। ये स्टोमाटा दो द्वार-कोशिकाओं द्वारा घिरी होती है। स्टोमाटा का खुलना व बंद होना द्वार-कोशिकाओं की स्थिति पर निर्भर करता है। जब द्वार कोशिकाएँ जल अवशोषित कर फूल जाती हैं, तो स्टोमाटा खुल जाते हैं, और वायुमंडल से विसरण द्वारा पत्ती-कोशिकाएँ में पहुँच जाता है। इसके विपरीत जब द्वार कोशिकाओं का जल बाहर निकल जाता है, तब ये सिकुड़ जाती है और रंध्र बंद हो जाते हैं।
55. किण्वन किस प्रकार का श्वसन है ? यह कहाँ होता है ?
उत्तर ⇒ किण्वन एक प्रकार का अवायवीय श्वसन है, जिसमें यीस्ट द्वारा, पायरुवेट को एथेनॉल एवं कार्बन डाइऑक्साइड में परिवर्तित कर दिया जाता है। यह अभिक्रिया यीस्ट कोशिकाओं के बाहर स्रावित जाइमेज एंजाइम द्वारा शर्करा के अपघटन के फलस्वरूप संपन्न होता है।
56. नासिका वेश्म किस प्रकार हवा के साथ अंदर प्रवेश करनेवाले धूलकणों के साथ रोगाणुओं की रोकथाम करता है ?
उत्तर ⇒ नासिका वेश्मों में महीन म्यूकस मेम्ब्रेन का स्तर होता है, जो म्यूकस नावित करता है। विभिन्न रोगाणु या अन्य हानिकारक पदार्थ लसलसे म्यकस में फंसकर प्रकोष्ठ के बालों में चिपक जाते हैं और ये अंदर की ओर प्रवेश नहीं कर पाते हैं।
57. हृदय में कपाटों की क्या आवश्यकता है ?
उत्तर ⇒ मनुष्य तथा मैमेलिया वर्ग के अन्य जंतुओं के हृदय में चार वेश्म दो बायाँ एवं दायाँ अलिंद तथा दो बायाँ एवं दायाँ निलय होते हैं। दायाँ अलिंद, दाएँ निलय में तथा बायाँ अलिद बाए निलय में खुलता है। इनके खलने के स्थान से त्रिदली एवं द्विदली कपाट क्रमशः लगे होते हैं, जो पुनः रक्त को वापस नहीं आने देते तथा उनमें शद्ध एवं अशुद्ध रक्त को आपस में मिलने से रोकते हैं। अतः शद्ध एवं अशद्ध रक्त आपस में मिले नहीं इसके लिए हृदय में कपाटों की आवश्यकता अनिवार्य है।
58. श्वसन और दहन में दो अंतर लिखें।
उत्तर ⇒ श्वसन एवं दहन में निम्न अंतर हैं –
| लक्षण | श्वसन | दहन |
| (i) प्रक्रिया की प्रवृत्ति | जैव रासायनिक एवं क्रमबद्ध प्रक्रिया है। | भौतिकीय रासायनिक अभिक्रिया है जो अचानक होती है। |
| (ii) उपस्थिति का स्थल | कोशिकीय स्तर पर होता है। | कोशिकीय स्तर पर नहीं होती है। |
69. श्वसन एवं प्रकाश संश्लेषण में क्या अंतर है ?
उत्तर ⇒
| श्वसन | प्रकाशसंश्लेषण |
| (i) श्वसन एक विखंडात्मक प्रक्रिया है | (i) प्रकाश संश्लेषण एक रचनात्मकअभिक्रिया है। |
| (ii) श्वसन में ग्लूकोज एवं ऑक्सीजन को सब्सट्रैट के रूप उपयोग करते हैं। | (ii) प्रकाश संश्लेषण में Co2 एवं जल को सब्सट्रैट के रूप में में उपयोग करते है। |
| (iii) श्वसन में Co2 एवं H2O अंतोत्पाद के रूप में बनेंगे। | (iii) प्रकाश संश्लेषण में ग्लूकोज एवं co 2 अंतोत्पाद के रूप में बनेंगे। |
60. वायवीय तथा अवायवीय श्वसन में क्या अंतर है? कुछ जीवों के नाम लिखिए जिसमें अवायवीय श्वसन होता है।
उत्तर ⇒
| वायवीय श्वसन | अवायवीय श्वसन |
| (i) इसमें ऑक्सीजन की आवश्यकता होती है। | (i) इसमें ऑक्सीजन की आवश्यकता नहीं होती है। |
| (ii) कोशिका के कोशिका द्रव्य व माइटोकॉण्ड्रिया में होता है | (ii) यह क्रिया केवल कोशिका द्रव्यव में ही होती है। |
| (iii) इस क्रिया में आतम उपाय CO2 तथा जल होते हैं। | (iii) इस क्रिया अंतिम उत्पाद इथाइल अल्कोहल तथा कार्बन डाईऑक्साइड है |
| (iv) यह क्रिया सभी जीवधारियों में पायी जाती है | (iv) यह क्रिया केवल कुछ ही जीवधारियों में पायी जाती है |
61. श्वसन एवं श्वासोच्छ्वास में क्या अंतर है ?
उत्तर ⇒ श्वसन एवं श्वासोच्छ्वास में निम्नलिखित अंतर हैं
| श्वसन | श्वासोच्छ्वास |
| (i) श्वसन एक जैव रासायनिक प्रक्रम है। | (i) श्वसोच्छवास एक भौतिक क्रिया है |
| (ii) इसमें ऊर्जा का निर्माण होता | (ii) इसमें ऊर्जा का निर्माण नहीं होताहै। |
| (iii) यह कोशिका में संपन्न होती है | (iii) यह फेफड़े में होती है। |
62. जाइलम तथा फ्लोएम में पदार्थों के संवहन में दो अंतर लिखें।
उत्तर ⇒
| जाइलम | फ्लोएम |
| 1. इसकी कोशिकाएँ मृत होती हैं। | 1. इसकी कोशिकाएँ जीवित होती हैं। |
| 2. यह जल एवं घुलित खनिज लवण का स्थानांतरण करता है। | 2. यह खाद्य पदार्थों का स्थानांतरण करता है। |
63. एकदिशीय तथा द्विदिशीय स्थानान्तरण में विभेद करें ।
उत्तर ⇒
| एकदिशीय स्थानांतर | द्विदिशीय स्थानान्तरण |
| पौधों के जड़ से ऊपरी भागों की ओर जल तथा खनिज लवणों का परिवहन एक स्वतंत्र विशेष तंत्र द्वारा होता है, इसे एकदिशीय स्थानांतरण कहते हैं । | खाद्य पदार्थों का स्थानान्तरण पत्तियों से नीचे एवं ऊपर की ओर एक विशेष तंत्र फ्लोएम के द्वारा होता है । इसे द्विदिशीय स्थानांतरण कहते हैं । |
| Bihar Board Class 10th Biology (Science) Previous Years Question |
| 01 | जैव प्रक्रम |
| 02 | नियंत्रण एवं समन्वय |
| 03 | जीव जनन कैसे करते हैं |
| 04 | अनुवांशिकता एवं जैव विकास |
| 05 | हमारा पर्यावरण |
| 06 | प्राकृतिक संसाधनों का प्रबंधन |
